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ननद की शादी में मैंने 3 लंड से चुदवाया

इंडियन पोर्न भाभी हॉट चुदाई कहानी में मैंने बताया है कि कैसे मेरी ननद की शादी में मैंने 3 नए लंड लिए अपनी चूत में … जीजू का, ननदोई का और देवर का!

यह कहानी सुनें.

मेरे प्यारे पाठको,
कुछ दिन पहले आपने मेरी एक प्रशंसिका की कहानी
पराये मरद का लंड लेने की तमन्ना
पढ़ी और पसंद की थी.

आज की इंडियन पोर्न भाभी हॉट चुदाई कहानी भी उसकी पाठिका रूपाली घोष की है जो मुंबई में रहती है पर बंगाल से है.

अब आगे की बड़ी रोचक कहानी रूपाली से ही सुनिए।

मेरी दो ननद हैं दिव्या और नव्या!
दिव्या की शादी मानस से हो गयी।
छोटी वाली नव्या की शादी होने वाली थी।

उसके लिए मेरे ससुर ने एक बड़ा सा गेस्ट हाउस बुक कराया था और सभी नाते रिश्तेदारों को फैमिली सहित वहीं पर ठहरवाया था।
इसलिए 3 दिन तक सब लोग अपनी अपनी बीवी बच्चों सहित गेस्ट हाउस में आ गए थे।

बड़ी रौनक हो गयी थी। चारों तरफ हंसी ख़ुशी का माहौल था। सब लोग अपनी अपनी मस्ती में थे।

सबकी खूब तैयारियां हो रहीं थीं। सभी औरतें लड़कियां ब्यूटी पार्लर जा जा कर सजी धजी घूम रही थीं।

ऐसे में इन सबको देख देख कर मर्दों के लंड खड़े होने लगे।
मस्ती में लड़के अपने अपने मौके के हिसाब से लड़कियों की औरतों की चूचियाँ दबाने लगे और लड़कियां भी लड़कों के लंड पकड़ कपड़ कर मज़ा करने लगीं।

इतने में मेरी दीदी ने कहा- रूपाली, तुम अपने जीजू के साथ जाओ और एक गुलाबी साड़ी खरीद लाओ।
तुषार जीजू मेरे बगल में ही खड़ा था।
वह तो बड़ा खुश हो गया और मुझे कार में बैठा कर चल पड़ा।

जीजू बाजार न जाकर मुझे अपने फ्लैट में ले गया जो बिल्कुल खाली था।
मैंने कहा- अरे जीजू, यहां कहां ले आये हो मुझे? ये बाजार तो नहीं है।
वह बोला- रुको, अभी चलते हैं बाज़ार!

इतने में उसने मुझे अपने बदन से चिपका लिया और बोला- अभी बहुत टाइम है यार … थोड़ा मज़ा तो ले लें यार?

मैंने कहा- नहीं यार जीजू ऐसा मत करो। दीदी क्या कहेंगीं?
वह बोला- उसे क्या मालूम कि हम लोग क्या कर रहे हैं।

उसने मेरी चूची दबाना नहीं छोड़ा, बोला- आज तो मैं तेरी चूत ले कर ही रहूंगा मेरी साली जी।
मन तो मेरा भी था पर मैं उसे रोक रही थी।

वह अपने कपड़े उतारने लगा।
इधर उसने मेरी चूचियाँ भी खोल डालीं।
मैं रोकती रही और वह आगे बढ़ता रहा।

उसने अपनी पैंट और चड्डी खोल कर फेंक दी।
मेरी बहन का चोदू एकदम नंगा नंगा मेरे आगे खड़ा हो गया।

उसका खड़ा लंड देख कर मैं ललचा गई, मेरे मुंह से लार टपकने लगी.
मैं बोली- हाय जीजू, ये तो बहुत बड़ा है? बड़ा मोटा है बहनचोद?
वह बोला- पर ये है क्या? इसका नाम तो बताओ?
मैंने कहा- लंड है जीजू और क्या? इसको लौड़ा भी कहते हैं।

मेरे मुंह से लंड सुना तो कमीने जीजू का लंड और फुफकारने लगा।
मैंने कहा- हाय हरामी जीजू, ये तो बढ़ता ही जा रहा है।

मेरे मुंह से निकला- क्या मस्त लौड़ा है तेरा भोसड़ी का जीजू?

बस वह पूरे ताव में आ गया और मुझे पूरी तरह नंगी कर दिया, बोला- तेरी चूत बड़ी मस्तानी है रूपाली! मैं बहुत दिनों से तुझे चोदने की सोच रहा था। आज मौक़ा मिला है आज तो मैं तुझे चोद कर ही दम लूंगा।
मैंने कहा- नहीं जीजू, मुझे चोदो मत! मुझे डर लग रहा है। कहीं गड़बड़ हो गयी तो? मैं तेरे लंड का मुठ मार दूंगी। लंड मुंह में लेकर चूस लूंगी। तुम जो कहोगे वो करूंगी, बड़े प्यार से करुँगी पर मुझे चोदो मत!

वह बोला- अरे मेरी प्यारी साली जी, आज मौक़ा बढ़िया है. मेरा लंड खड़ा है, आज तो मैं चोदूंगा जरूर!

दोस्तो, असली बात तो यह थी कि मैं खुद अपनी बहन के लंड से चुदवाना चाहती थी। मैं तो बस नखरे दिखा रही थी।

फिर उसने मुझे बेड पर लिटा दिया और मेरी चूत चाटने लगा.
मैं भी उसका टनटनाता हुआ लंड चाटने लगी।

लंड सच में बड़ा मोटा और हैंडसम था।
इतना बढ़िया लंड सामने हो तो कौन चूतचोदी चुदवाना नहीं चाहेगी?
लंड देख कर तो मेरी चूत पहले से ही कुलबुलाने लगी थी।

कुछ देर तक चूत चाटने के बाद वह बोला- अब चोदूं तेरी चूत?
मैंने कहा- अच्छा रुको ज़रा जीजू!

मैंने अपना पर्स खोला और उसमें से सामान निकाला जैसे कि छोटी सी कैंची, ब्लेड, रेज़र, झांटें बनाने वाली मशीन, इंची टेप लंड का साइज नापने के लिए, मसाज आयल, नैपकीन और आखिर में कंडोम!
वह बोला- अरे बाप रे … इतना सामान?
मैंने कहा- अरे जीजू, मैं चुदाई का सारा समान अपने पास में रखती हूँ. पता नहीं लंड कब और कहां मिल जाए! मैं क्या … आजकल सभी औरतें चूत चोदी चुदाई का सामान अपनी पर्स में रखती हैं।
यह सब देख कर उसका लंड और भनभना उठा।
मैंने फिर उसे टोका और उसका लंड पकड़ कर उसके टोपा पर कंडोम रखा थोड़ा नीचे खिसकाया और टोपा दांत से पोले पोले दबाया, फिर कंडोम झर्र से नीचे घसीट दिया.
तो कंडोम पूरे लंड पर चढ़ गया।

उसे मेरा लंड पर कंडोम चढ़ाना बड़ा अच्छा लगा।

फिर उसने लंड मेरी चूत पर रखा, थोड़ा रगड़ा और फिर गच्च से पेल दिया अपनी बीवी की बहन की चूत के अंदर!
जीजा अपना लंड बार बार अंदर बाहर करता हुआ चोदने लगा मेरी चूत!

फिर मैं भी साथ देने लगी, कमर कमर हिला हिला कर चुदवाने लगी.
मैंने कहा- जीजू भोसड़ी के … तू बहुत हरामजादा है। तेरी बहन की चूत … तेरे लंड की माँ की चूत! जितना तू हरामी है उससे ज्यादा तेरा मादरचोद लंड हरामी है। आज तुम मेरी चूत चोद लो जीजू कल मैं तेरी बहन की चूत चोदूँगी।

मैं जान बूझ कर गालियां दे रहीं थी ताकि उसके लंड में तनाव बना रहे और वह मुझे खूब कस कस के चोदता रहे।
मुझे चुदने में मज़ा आने लगा।

इस तरह मैं काफी देर तक अपने जीजा के लंड से चुदी और अच्छी तरह से चुदी, हर तरफ से चुदी।
मैंने जीजू के लंड का पूरा मज़ा लिया और फिर साड़ी खरीद कर गेस्ट हाउस वापस पहुँच गयी।

शाम को जब कोई कार्यक्रम हो रहा था तो मानस मेरा ननदोई मुझे बार बार घूर घूर कर देख रहा था।
मैं भी उसे बड़े प्यार से देख रहे थी।

मानस एक मस्त जवान आदमी है, स्मार्ट और हैंडसम है।
मेरे मन में आया कि इस बहनचोद का लौड़ा भी बड़ा मजेदार होगा।
ऐसा ख्याल आते ही मेरी चूत गीली हो गयी।
बस मैं मौके की तलास में लग गयी।

तब तक वह भी चुपचाप मेरे पास आया और बोला- भाभी जी, आज तुम बहुत खूबसूरत लग रही हो!
मेरे मुंह से निकला- तुम भी तो खूबसूरत लग रहे हो ननदोई जी!

उसकी हिम्मत बढ़ गयी, उसने मेरा हाथ दबाकर कहा- तो फिर चलो न मेरे साथ?
मैं बोली- ऐसे कैसे चलूँ यार? किसी को मालूम हो गया तो? फिर, तुम तो मेरे मेहमान हो, तुम्हारी जरूरत पड़ गई तो?
तब वह बोला- अच्छा तो फिर रात को चलना?
मैंने कहा- अच्छा देखूंगी।

फिर हम दोनों अपने अपने काम में लग गए।

रात को जब सब काम ख़त्म हो गया तो अधिकतर लोग इधर उधर अस्त व्यस्त तरीके से सो गए।
इसी बीच वह आया और मुझे बाहर ले गया, अपनी कार में बैठा कर अपने घर ले आया।

उसका घर गेस्ट हाउस से दो किलोमीटर पर ही था।
अब घर हम दोनों अकेले ही थे।

अंदर घुसते ही वह मुझसे लिपट गया और बोला- बहुत दिनों से इच्छा थी तुमसे लिपटने की रूपाली भाभी! तुम बहुत अच्छी हो।

मैंने भी उसे अपनी बांहों में भर लिया।
उसने मुझे चूमा, मैंने उसे चूमा.

फिर हम दोनों के कपड़े उतरने लगे।

मेरा हाथ उसका लंड टटोलने लगा और उसका हाथ मेरी नंगी चूचियाँ दबाने लगा।
वह बोला- क्या मस्त बड़ी बड़ी चूचियाँ हैं आपकी भाभी जी! एकदम ठोस टनाटन … क्या मस्त जवानी है आपकी!

मैं एकदम नंगी हो चुकी थी।
वह भी नंगा हो चुका था।

मैंने उसका लंड पकड़ कर हिलाया और कहा- बाप रे बाप … इतना बड़ा लंड? इतना मोटा लंड? यार मज़ा आ गया। मेरी उम्मीद से ज्यादा बड़ा है तेरा लंड मानस!
मैंने लंड मुंह में भर लिया और चूसने लगी।
वह मेरे नंगे जिस्म से खेलने लगा।

मैं लंड का सुपारा बार बार चाटने लगी, उसके चारों ओर अपनी जबान घुमाने लगी।

मस्ती में मैं भी थी और वह भी!
फिर उसने मुझे चित लिटा कर अपना मोटा लंड मेरी चूत में घुसा दिया।

मैं तो लंड अपनी गर्म चूत में पेलवाने आई ही थी।
इसका लंड जीजू के लंड से थोड़ा ज्यादा मोटा था तो मज़ा भी कुछ ज्यादा आने लगा।

मैंने कहा- मानस, एक बात बता … तेरी बीवी सिर्फ तू ही चोदता है या कोई और भी?
वह बोला- मेरी बीवी जिससे चुदवाती है, मैं उसकी बीवी चोदता हूँ।

मैंने कहा- इसका मतलब तेरी बीवी चुदक्कड़ है?
वह बोला- हां चुदक्कड़ न होती तो पराये मरद से नहीं चुदवाती। वह तो खूब मस्ती से चुदवाती है हमारे दोस्तों से। मैं तो अपनी बीवी चुदवाकर दूसरों की बीवियां चोदता हूँ।

फिर मानस ने मेरी चूत का बाजा खूब बजाया।
मैंने भी दिल खोल कर चुदवाया और खूब मज़ा किया।

मैं पहले खलास हो गई फिर मैंने उसका लंड मुट्ठी में लेकर सड़का मार दिया तो वह भी झड़ गया।

वह बोला- भाभी जी, आज यह पहली चुदाई है अब आगे भी मैं आपकी चूत चोदता रहूंगा।
मैंने कहा- हां ननदोई जी, भूल मत जाना, मुझे चोदते ही रहना। मुझे तेरा लंड पसंद आ गया है।

फिर हम दोनों रात में ही वापस आ गए और अपनी अपनी जगह सो गए।
किसी को कोई खबर नहीं कि क्या हुआ.

अगले दिन सवेरे 4 बजे मेरी नींद खुली तो मैं बाथरूम गयी।
वहां से जब आ रही थी तो मैंने बगल के कमरे में झांक कर देखा कि मेरी चचिया सास का बेटा बिस्तर पर लेटा है।
वह भी मेरा देवर ही था।

मैंने देखा कि वह एक चादर ओढ़े हुए हैं और उसके अंदर उसका लंड खड़ा हुआ है।
बस यह देख कर मेरी चूत में आग लग गयी।
लंड ने चादर का तम्बू बना रखा था।

मैं अंदर गई।
अंदर से दरवाजा बंद किया मैंने और हौले से उसकी चादर हटाई तो उसके टनटनाते हुए लंड का दर्शन मुझे हो गया।
मेरा मन खिल उठा।
मैं यही तो चाहती थी।

मैंने लंड मुट्ठी में ले लिया और बड़े प्यार से चूमा।
तब तक उसकी नींद खुल गयी।

वह मुझे देख कर हैरान होकर बोला- अरे भाभी जी, आप?
मैंने कहा- हां यार मैं!
वह बोला- भाभी, आप यह क्या कर रही हो?
मैंने जवाब दिया- अबे चूतिये … तुझे दिख नहीं रहा क्या बे? अब देखता रहा … मुझे अपना काम करने दे!

तभी मैंने अपने कपड़े खोले और उसने मेरी चूचियाँ मसलना शुरू कर दिया, मेरी चूत पर हाथ फेरना शुरू कर दिया।

तब मैंने कहा- बोलो देवर जी, मैं तेरे लंड का मुठ्ठ मार दूँ या तुम मेरी चूत चोदोगे?
उसने कहा- मैं आपकी चूत चोदूंगा भाभी जी। मुठ तो तुमसे कभी भी मरवा लूंगा।

मैंने थोड़ी देर तक लंड चाटा और उसने मेरी चूत।

फिर जिस तरह से उसने अपनी इंडियन पोर्न भाभी को चोदा वह मुझे आज भी याद है।
पूरा लंड पेल पेल के चोदा, पीछे से भी चोदा और लंड पर बैठा कर भी चोदा।

उसके बाद तो मैं उससे खूब चुदी और आज भी चुद रही हूँ।

तो दोस्तो, हमारे यहाँ ऐसे शादी विवाह के मौकों पर अक्सर औरतें पराये मर्दों के लंड का मज़ा ले लेतीं हैं।
मेरे अलावा पता नहीं कितनी और बीवियां, लड़कियां लंड का मज़ा इसी विवाह में ले चुकी होगीं।

मेरी यह इंडियन पोर्न भाभी हॉट चुदाई कहानी आपको कैसी लगी आप मुझे रेहाना खान के मेल आईडी पर जरूर बताइयेगा।
[email protected]

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